डी के एस सुपर स्पेशियलिटी अस्पताल में लगभग सभी नैदानिक जांच जैसे संवेदनशील परिसेवाओं के ठेके पर चलने से छत्तीसगढ़ प्रदेश स्वास्थ्य कर्मचारी संघ कि चिंतन बैठकों में अनेक आशंकायें व्यक्त की जा रही है।

संघ ने यह अनुभव किया है कि निजी संस्थानें सरकारी छांव में लोक कल्याण के उद्मेश्य को रौंद कर लाभ-हानि के उद्मेश्य को साधती हैं। प्रदेश की ज्यादातर जनता यह नहीं जानती कि किस बिमारी में कौन सी जांच उचित है। जनता की अज्ञानता का फायदा उठाकर निजी संस्थानें इनका आर्थिक शोसन भी कर सकती है। एक ओर तो सरकारी व्यवस्था मे निजी संस्थाओं के मत, अभिमत को अनेक मौंकों मे नहीं माना जाता और दूसरी ओर नैदानिक जांच जैसे कार्यों को ठेके पर देना समझ से परे हैं।

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